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| - Last Updated on मार्च 15, 2024 by Neelam Singh
सारांश
सोशल मीडिया पर दावा किया जा रहा है कि ममता बनर्जी हर बार चुनाव से पहले चोटिल हो जाती हैं, जिसके पीछे स्वयं का वोट बैंक बढ़ाना उनका उद्देश्य है। वहीं कई सोशल मीडिया पोस्ट के जरिए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की चोट का राजनीतिकरण किया जा रहा है। जब हमने इस पोस्ट का तथ्य जाँच किया तब पाया कि यह दावा ज्यादातर गलत है।
दावा
सोशल मीडिया पर जारी इस पोस्ट के जरिए दावा किया जा रहा है कि ममता बनर्जी हर बार चुनाव से पहले चोटिल हो जाती हैं, जिसके पीछे स्वयं का वोट बैंक बढ़ाना उनका उद्देश्य है।
वहीं कई सोशल मीडिया पोस्ट के जरिए पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की चोट का राजनीतिकरण किया जा रहा है।
तथ्य जाँच
क्या ममता बनर्जी वास्तव में चोटिल हैं?
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को चोट लगने की खबर 14 मार्च 2024 को All India Trinamool Congress ने अपने आधिकारिक X (ट्विवटर) अकाउंट के जरिए साझा की गयी-
मुख्यमंत्री ममता गंभीर रूप से घायल हो गई हैं, कृपया उनके लिए प्रार्थना करें।
ममता बनर्जी के घायल होने की खबर सबसे पहले यही से चलनी शुरू हुई। इसके बाद विभिन्न न्यूज चैनल, वेबसाइट्स पर उनके घायल होने की खबरें चलाई जाने लगीं। हालांकि पश्चिम बंगाल सरकार या तृणमूल कांग्रेस की तरफ से आधिकारिक तौर पर नहीं बताया गया है कि ममता बनर्जी कैसे चोटिल हुईं? कोलकाता से आ रही खबरों के मुताबिक ममता को SSKM अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां प्राथमिक उपचार के बाद उन्हें अस्पताल से छुट्टी दे दी गई। SSKM अस्पताल ने चिकित्सकों ने मीडिया के सामने आकर ममता बनर्जी की चोट के बारे में सबको सूचना दी। इसमें अस्पताल प्रशासन द्वारा कहा जा रहा है कि उन्हें किसी ने पीछे से धक्का दिया और वे गिर गई।
एक दूसरे X (ट्विवटर) पोस्ट (जो एक प्रतिष्ठित मीडिया हाउस है) में कहा जा रहा है कि अस्पताल प्रशासन अपने बयान से मुकर गया। अब अस्पताल प्रशासन का कहना है कि ममता बनर्जी को किसी ने धक्का नहीं दिया बल्कि वे किसी झटके के कारण लड़खड़ाकर गिर गई।
ममता बनर्जी के चोटिल होने के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने भी ट्विवटर पर अपने पोस्ट के जरिए जल्द स्वस्थ होने की कामना की-
क्या ममता बनर्जी की चोट राजनीति से प्रेरित है?
उल्लेखनीय है कि ममता बनर्जी पहले भी कई बार चोटिल हो चुकी हैं, जिसकी जानकारी उन्होंने Mar 14, 2021 को अपने ट्विवटर अकाउंट के जरिए दी थी। उस समय पश्चिम बंगाल में विधानसभा चुनाव को लेकर चुनावी माहौल था।
देखा जाए तो ममता बनर्जी के घायल होने की तस्वीर को देख कर सवाल खड़ा होता है कि एक मुख्यमंत्री के पास सदैव आपातकालीन सेवा की सुविधा होती है फिर उन्हें प्राथमिक उपचार क्यों नहीं दिया गया, जिसमें घायल व्यक्ति की चोट, खून आदि को साफ किया जाता है। वहीं अस्पताल प्रशासन का द्वारा सटीक बयान ना आना भी शक के दायरे को बढ़ा देता है क्योंकि एक तरफ अस्पताल प्रशासन धक्का देने की बात करता है, तो वहीं ट्विवटर पर एक मीडिया चैनल द्वारा प्रशासन की बात को गलत बताया जा रहा है।
ऐसे में आम जनता के लिए समझना मुश्किल है कि असल में क्या हुआ था और ये जानकारी स्वयं ममता बनर्जी ही दे सकती हैं। इसके अलावा विपक्ष पार्टियों द्वारा भी उनके जल्द स्वस्थ होने को लेकर ट्विवटर पर पोस्ट्स जारी हुए हैं। ऐसे में ममता की चोट चुनावी माहौल से प्रेरित है या नहीं, फिलहाल कुछ कहा नहीं जा सकता है। अतः उपरोक्त बयानों एवं मीडिया द्वारा संलग्न जानकारी के अनुसार कहा जा सकता है कि यह दावा ज्यादातर गलत है।
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