schema:text
| - Newchecker.in is an independent fact-checking initiative of NC Media Networks Pvt. Ltd. We welcome our readers to send us claims to fact check. If you believe a story or statement deserves a fact check, or an error has been made with a published fact check
Contact Us: checkthis@newschecker.in
Fact checks doneFOLLOW US
Fact Check
Claim
इंदौर में पुलिस ने ईद पर हिंदुओं के घर पत्थरबाजी करने वालों को कराया अर्धनग्न परेड.
Fact
नहीं, वायरल वीडियो एक वर्ष पुराना है.
सोशल मीडिया पर एक वीडियो हो रहा है, जिसमें पुलिस कुछ अर्धनग्न लड़कों को परेड कराती नजर आ रही है. इस वीडियो को इस दावे से शेयर किया जा रहा है कि इंदौर में मुस्लिम लड़कों ने ईद पर हिन्दुओं के घर पर पत्थर फेंकें और डराने का प्रयास किया, जिसके बाद पुलिस ने यह कार्रवाई की.
हालांकि, हमने अपनी जांच में पाया कि यह वीडियो हालिया नहीं करीब एक वर्ष पुराना है. इंदौर पुलिस ने एक दूसरे पक्ष पर पत्थरबाजी करने को लेकर दोनों ही पक्षों के करीब 8 अपराधियों को अर्धनग्न परेड कराई थी.
वायरल वीडियो करीब 45 सेकेंड का है, जिसमें पुलिस 8 युवकों को अर्धनग्न परेड कराती हुई दिख रही है. इस दौरान वे लोग सड़क से पत्थर चुनते और ‘पत्थरबाजी नहीं करेंगे’ के नारे लगाते हुए भी सुनाई दे रहे हैं.
वीडियो को वायरल दावे वाले कैप्शन के साथ शेयर किया गया है, जिसमें लिखा हुआ है “इंदौर में अब्दुल और उसके साथियों ने मिलकर ईद पर हिंदूओं के घर पर पत्थर फेंके और डराने धमकाने लगे थे. CM-मोहन यादव जी की पुलिस ने अब्दुल गैंग को थाने में बढ़िया से कूटा.अर्द्धनग्न किया और रस्सी से बांधकर वहीं लेकर आईं जहां पत्थर फेंके थें. इंदौर पुलिस का बहुत बहुत धन्यवाद”.
Newschecker ने वायरल वीडियो में दिख रहे कीवर्ड की मदद से गूगल सर्च किया. इस दौरान हमें 10 सितंबर 2023 को ईटीवी भारत की वेबसाइट पर प्रकाशित रिपोर्ट मिली. इस रिपोर्ट में वायरल वीडियो का लंबा वर्जन मौजूद था, जिसमें 8 अर्धनग्न युवक सड़क से पत्थर चुनते और पत्थरबाजी नहीं करेंगे का नारा लगाते दिखाई दे रहे हैं. साथ ही वे लोग पत्थरबाजी को लेकर लोगों से माफ़ी मांगते हुए भी दिखाई दे रहे हैं.
ईटीवी भारत की रिपोर्ट में दी गई जानकारी के अनुसार, इंदौर के सदर बाजार थाना में एक पुराने मामले में राजीनामा को लेकर हुए विवाद के बाद दोनों पक्षों ने पत्थरबाजी कर दी थी, जिसके बाद पुलिस ने दोनों पक्षों के खिलाफ मामला दर्ज किया और दोनों ही पक्षों के जुबैर, मोहमद अमजद, मोईन कुरेशी, वसीम, मोहसिन, मसरूफ और शाहरूख नाम के बदमाशों को पकड़ा.
इसके बाद पुलिस इन बदमाशों को वहां लेकर गई, जहां उन्होंने पत्थरबाजी की थी. पुलिस ने उन सभी बदमाशों को अर्धनग्न अवस्था में फेंके हुए पत्थर उठाने को कहा और इलाके के लोगों से माफ़ी भी मंगवाई. इसके अलावा, ईटीवी भारत की वेबसाइट पर मौजूद वीडियो में सदर बाजार थाना प्रभारी का बयान भी मौजूद था. जिसमें वे यह कहते नजर आ रहे हैं कि “कल शाम को बदमाशों के ये दोनों गुट आमने-सामने हो गए थे. जिसके बाद पुलिस ने सूचना मिलते ही इन सभी बदमाशों को पकड़ा. इन सभी बदमाशों के आपराधिक रिकॉर्ड भी हैं. इनको पहले भी कई बार समझाया गया था. इसलिए कल शाम को जब दोनों पक्षों ने पत्थरबाजी की तो उनसे वे पत्थर चुनवाए गए”.
इसके अलावा थाना प्रभारी ने पत्थरबाजी के कारणों की जानकारी देते हुए बताया कि पहले दोनों पक्षों ने एक दूसरे पर मुकदमा दायर किया था. इसी को लेकर दोनों पक्षों के बीच राजीनामा होना था, लेकिन विवाद हो गया. इसी दौरान दोनों पक्षों ने एक दूसरे पर पत्थरबाजी की थी.
जांच में हमें इस मामले से जुड़ी रिपोर्ट इंडिया टीवी की वेबसाइट पर 9 सितंबर 2023 को प्रकाशित मिली. रिपोर्ट में दी गई जानकारी के अनुसार, 8 सितंबर 2023 को सदर बाजार थाना क्षेत्र के किसी पुराने मामले के राजीनामे के चक्कर में दोनों पक्ष आपस में लड़ बैठे और पथराव भी किया. जिसके बाद पुलिस ने दोनों पक्षों के खिलाफ मामला दर्ज किया और दोनों पक्षों के 8 लोगों को अर्धनग्न करके जुलूस निकले एवं पत्थर चुनवाए.
इस रिपोर्ट में सभी 8 आरोपियों की पूरी जानकारी दी गई थी. पुलिस ने जिन आठ आरोपियों को पकड़ा था, उनमें जुबैर पिता इशाक कुरेशी, मोहम्मद अमजद पिता मोहम्मद अब्बास पठान, इमरान उर्फ इम्मा पिता अब्बास हुसैन, मोइन कुरैशी पिता इसाक कुरेशी, वसीम उर्फ कछु पिता सलीम शाह, मोहसिन कुरैशी, मसरूफ पिता मंसूर बेग, शाहरुख़ पिता अब्दुल रशीद थे.
इसके अलावा, हमें नवभारत टाइम्स की वेबसाइट पर भी प्रकाशित रिपोर्ट मिली, जिसमें वही सब जानकारी दी गई थी. जो ऊपर मौजूद है.
जांच में हमें इस मामले में एक पक्ष के द्वारा की गई एफआईआर भी मिली, जिसमें बताया गया था कि दोनों पक्ष के लोग 8 सितंबर को आपसी विवाद में हुए एक मामले के राजीनामे के लिए इकट्ठा हुए थे. इसी दौरान गाली गलौज और पत्थरबाजी हुई थी.
हमने अपनी जांच में यह भी पाया कि जब यह घटना घटी थी, तब शिवराज सिंह चौहान राज्य के मुख्यमंत्री थे. दिसंबर 2023 में मोहन यादव को मध्य प्रदेश का नया मुख्यमंत्री चुना गया था.
हमारी जांच में मिले साक्ष्यों से यह साफ़ है कि वायरल वीडियो सितंबर 2023 का है, जिसे हालिया दिनों का बताकर भ्रामक दावा शेयर किया जा रहा है।
Our Sources
Article Published by ETV on 10th Sep 2023
Article Published by India TV on 9th Sep 2023
Article Published by NBT on 9th Sep 2023
किसी संदिग्ध ख़बर की पड़ताल, संशोधन या अन्य सुझावों के लिए हमें WhatsApp करें: 9999499044 या ई-मेल करें: checkthis@newschecker.in
फैक्ट-चेक और लेटेस्ट अपडेट्स के लिए हमारा WhatsApp चैनल फॉलो करें: https://whatsapp.com/channel/0029Va23tYwLtOj7zEWzmC1Z
Runjay Kumar
February 10, 2025
Runjay Kumar
February 6, 2025
Runjay Kumar
February 5, 2025
|