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Elections 2022
सोशल मीडिया पर एक ट्वीट (Tweet) के स्क्रीनशॉट को शेयर करते हुए दावा किया गया कि अखिलेश यादव ने अपर्णा यादव को विभीषण और खुद को रावण मान लिया है।
अखिलेश यादव के नाम से वायरल हुए स्क्रीनशॉट में लिखा है कि ‘BJP को लगता है कि वो हमारी “बहू” को अपने पाले में लेकर हमे हरा देंगे लेकिन उन्हें पता होना चाहिए कि “रावण” को विभीषण एक ही बार मरवा सकता है, हर बार नही। बेशक हम यदुवंशी हैं लेकिन रामायण हमने भी कई बार पढ़ी है। हमारी नाभि में “अमृत” कहाँ छिपा है ये आज के “विभीषण” को नही पता।’
(वायरल स्क्रीनशॉट में लिखे शब्दों को अक्षरशः लिखा गया है।)
एक यूजर ने वायरल स्क्रीनशॉट को शेयर कर लिखा कि ‘अखिलेश यादव अपनी बहू को विभीषण बता रहे है, यानी वे भी मान रहे है कि ये सनातन धर्म को बचाने की ये लड़ाई भगवान राम (योगी जी) व रावण (अखिलेश यादव) के बीच है। जिसमे प्रदेश का हिन्दू योगी जी के साथ व मुसलमान अखिलेश यादव के साथ है।’ आखिर भैया, जीत तो धर्म की ही होगी।’
(उपरोक्त ट्वीट को अक्षरशः लिखा गया है।)
उपरोक्त ट्वीट का आर्काइव यहां देखा जा सकता है।
उपरोक्त दावे को फेसबुक पर भी शेयर किया गया है।
उपरोक्त फेसबुक पोस्ट को यहां देखा जा सकता है।
उपरोक्त फेसबुक पोस्ट को यहां देखा जा सकता है।
उपरोक्त फेसबुक पोस्ट को यहां देखा जा सकता है।
Crowdtangle टूल की सहायता से किये गए एक विश्लेषण के अनुसार, इस वायरल स्क्रीनशॉट को पिछले तीन दिनों में फेसबुक पर कुल 39 बार पोस्ट किया गया है। जहां कुल 6367 इंटरैक्शन (रिएक्शन, कमेंट, शेयर) हैं।
19 जनवरी 2022 को अमर उजाला द्वारा प्रकाशित एक लेख के मुताबिक, समाजवादी पार्टी के संरक्षक मुलायम सिंह यादव की छोटी बहू अपर्णा यादव भाजपा में शामिल हो गईं। बतौर लेख, अपर्णा यादव बीते 19 जनवरी को उत्तर प्रदेश के भाजपा अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह और यूपी के उप मुख्यमंत्री केशव मौर्य की मौजूदगी में भाजपा में शामिल हुईं। इसी बीच एक ट्वीट के स्क्रीनशॉट को शेयर कर दावा किया गया कि अखिलेश यादव ने अपर्णा यादव को विभीषण और खुद को रावण मान लिया है।
अखिलेश यादव ने अपर्णा यादव को विभीषण और खुद को रावण मान लिया है, दावे के साथ वायरल हुए पोस्ट का सच जानने के लिए हमने अखिलेश यादव के आधिकारिक ट्विटर हैंडल को खंगालना शुरू किया। इस दौरान हमें ट्वीट के स्क्रीनशॉट से मिलता-जुलता कोई भी ट्वीट (Tweet) अखिलेश के ट्विटर हैंडल पर नहीं मिला।
इसके बाद हमने कुछ कीवर्ड्स की मदद से गूगल पर यह खोजना शुरू किया कि अखिलेश यादव ने अपर्णा यादव के भाजपा में शामिल होने पर क्या बयान दिया है। इस दौरान हमें आज तक द्वारा प्रकाशित एक लेख प्राप्त हुआ। बतौर लेख, अखिलेश यादव ने अपर्णा यादव के भाजपा में शामिल होने पर कहा कि “सबसे पहले मैं बधाई और शुभकामना दूंगा, सपा विचारधारा का विस्तार हो रहा है। मुझे उम्मीद है वहां भी हमारी विचारधारा होगी। नेता जी ने उन्हें बहुत कोशिश की समझाने की।”
पड़ताल के दौरान हमने कुछ कीवर्ड्स की मदद से यूट्यूब पर खोजना शुरू किया। इस दौरान हमें NDTV का एक वीडियो प्राप्त हुआ, जिसमें अखिलेश यादव ने अपर्णा यादव के भाजपा में शामिल होने पर कहा कि “सबसे पहले मैं बधाई और शुभकामना दूंगा, सपा विचारधारा का विस्तार हो रहा है। मुझे उम्मीद है हमारी विचारधारा वहां पहुंचकर लोकतंत्र और संविधान बचाने का काम करेगी।”
इसके बाद हमने वायरल ट्वीट पोस्ट को ध्यान से देखा। इस दौरान हमें पता चला कि अखिलेश यादव के असली ट्विटर हैंडल में दिख रहा यूज़रनेम वायरल ट्वीट पोस्ट के यूज़रनेम से अलग है।
असली ट्वीट और वायरल ट्वीट में अंतर नीचे समझा जा सकता है।
अखिलेश यादव के ट्विटर हैंडल को खंगालने के क्रम में हमने गौर किया कि उनके सारे ट्वीट i-phone से किये गए हैं। लेकिन दावे के साथ शेयर किया जा रहा वायरल ट्वीट Android से पोस्ट किया गया है।
असली ट्वीट और वायरल ट्वीट में अंतर नीचे समझा जा सकता है।
Android और i-phone क्या है?
Android एक ऑपरेटिंग सिस्टम है, जिसकी मदद से मोबाइल ऑपरेट होता है। Android को गूगल ने बनाया है। अगर बात करें i-phone की तो यह Apple कंपनी द्वारा बनाया गया फोन है। Apple द्वारा बनाये गए फ़ोन्स में iOS यानी कि i-phone Operating System का इस्तेमाल होता है।
पड़ताल के अगले चरण में हमने गौर किया कि अखिलेश यादव के आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर मौजूद ट्वीट्स और दावे के साथ शेयर किए गए ट्वीट के स्क्रीनशॉट में समय और तिथि लिखने के फॉरमेट में अंतर है। ट्विटर हैंडल पर मौजूद ट्वीट्स का समय और तिथि फॉरमेट कुछ इस तरह से 12:48 PM • 14 Jan 22 • Twitter For iPhone है। लेकिन वायरल स्क्रीनशॉट के समय और तिथि का फॉरमेट कुछ इस तरह से 21:19 PM 19 Jan 22 Twitter For Android लिखा गया है।
असली ट्वीट और वायरल ट्वीट में अंतर नीचे समझा जा सकता है।
वायरल और वास्तविक ट्वीट पोस्ट के समय और तिथि के फॉरमेट को देखने के बाद लगा कि हो सकता है कि Android और iPhone द्वारा किये गए ट्वीट्स के समय और तिथि का फॉरमेट अलग होता हो। इसलिए हमने समाजवादी पार्टी के आधिकारिक ट्विटर हैंडल द्वारा Android फ़ोन से किये गए एक ट्वीट के समय और तिथि के फॉरमेट की तुलना, वायरल स्क्रीनशॉट के साथ की। समाजवादी पार्टी के ट्विटर हैंडल द्वारा किये गए ट्वीट (Tweet) का समय और तिथि का फॉरमेट कुछ इस तरह से 8:08 AM • 22 Jan 22 • Twitter For Android लिखा है। लेकिन वायरल स्क्रीनशॉट में समय और तिथि का फॉरमेट कुछ इस तरह से 21:19 PM 19 Jan 22 Twitter For Android लिखा हुआ है। वायरल स्क्रीनशॉट की तिथि और समय के बीच वह बिंदी/पॉइंट मौजूद नहीं है जो असली ट्वीट्स में मौजूद रहता है।
असली ट्वीट और वायरल ट्वीट में अंतर नीचे समझा जा सकता है।
वायरल स्क्रीनशॉट के बारे में अधिक जानकारी के लिए हमने समाजवादी पार्टी की प्रवक्ता वंदना सिंह से संपर्क किया। बातचीत के दौरान उन्होंने बताया कि “अखिलेश यादव ने ऐसा कोई ट्वीट नहीं किया है। उन्होंने अपर्णा यादव को बीजेपी ज्वाइन करने के बाद शुभकामनाएं भी दी थी। BJP IT CELL द्वारा इस तरह की कई फेक खबरें प्रसारित की जा रही हैं।”
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इस तरह हमारी पड़ताल में यह साफ़ हो गया कि सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के नाम से सोशल मीडिया पर फर्जी ट्वीट पोस्ट शेयर किया जा रहा है।
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