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  • व्लॉगर भाना सिद्धू के समर्थन में हुए आंदोलन का वीडियो किसान आंदोलन से जोड़कर वायरल बूम ने पाया कि वायरल वीडियो 3 फरवरी का है, जब पंजाब के एक व्लॉगर, भाना सिद्धू के समर्थकों ने उनकी रिहाई की मांग को लेकर संगरूर में मुख्यमंत्री भगवंत मान का घर घेराव की घोषणा की थी. ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स पर ट्रैक्टर लेकर पुलिस बैरिकेडिंग तोड़ते हुए आगे बढ़ने का एक वीडियो वायरल है. इस वीडियो के साथ यह गलत दावा किया जा रहा है कि ये मौजूदा किसान आंदोलन से जुड़ा हुआ है, किसान बैरिकेडिंग तोड़कर दिल्ली की ओर बढ़ रहे हैं. बूम ने अपनी जांच में पाया कि वायरल दावा गलत है, यह किसान आंदोलन का नहीं बल्कि व्लॉगर भाना सिद्धू के गिरफ्तारी के खिलाफ समर्थन में किए गए आंदोलन का वीडियो है. असल में 3 फरवरी को पंजाब के एक व्लॉगर, भाना सिद्धू के समर्थकों ने उनकी रिहाई की मांग को लेकर संगरूर में मुख्यमंत्री भगवंत मान का घर घेरने की घोषणा कर दी थी. लगभग एक मिनट के इस वीडियो में कुछ लोग ट्रैक्टर से पुलिस बैरिकेडिंग और डिवाइडर को तोड़ते हुए आगे बढ़ रहे हैं. यूजर्स इसे हालिया किसान आंदोलन का बताकर शेयर कर रहे हैं. गौरतलब है कि तीन कृषि कानूनों से संबंधित अपनी लंबित मांगों लेकर किसान एकबार फिर आंदोलनरत हैं. रिपोर्ट्स के अनुसार, 13 फरवरी से अपनी लंबित मांगों को लेकर एक बार फिर किसानों ने दिल्ली का रुख किया है. इसके मद्देनजर पुलिस ने दिल्ली के चारों तरफ बैरिकेडिंग कर दी है. आंदोलनकारी किसान अपने ट्रैक्टर-ट्रॉली को लेकर पंजाब-हरियाणा के शंभू बॉर्डर पर पहुंच गए हैं. रिपोर्ट में बताया गया है कि जब किसानों ने हरियाणा की सीमा में दाखिल होने की कोशिश की तो उन पर आंसू गैस के गोले भी छोड़े गए. इस आंदोलन से जोड़कर इस वीडियो को शेयर किया जा रहा है. फेसबुक पर वीडियो को शेयर करते हुए एक यूजर ने लिखा, "यह बैरिकेड्स किसानों का रास्ता नहीं रोक सकते! बैरिकेड्स तोड़ते हुए किसान लगातार दिल्ली की ओर बढ़ रहे हैं. आखिर पुलिस और सेना में भी किसानों के बच्चे भर्ती होते है." एक्स पर लगभग ऐसे ही दावों के साथ कई यूजर्स किसानों के पक्ष में तो कुछ किसानों को घेरते हुए वीडियो को शेयर कर रहे हैं. यहां, यहां देखा जा सकता है. फैक्ट चेक पूरा वीडियो देखने के बाद हमने वीडियो के कुछ कीफ्रेम्स को इनविड टूल के जरिए सर्च किया, इस पड़ताल के दौरान हमें कुछ रिपोर्ट्स मिले, जिनमें इसे संगरूर में पंजाब के एक प्रसिद्ध व्लॉगर की रिहाई की मांग को लेकर किए आंदोलन का बताया गया था. Pro Punjab Tv Canada के यूट्यूब पर वायरल वीडियो से मिलता-जुलता यह वीडियो देखा जा सकता है. वीडियो में इस घटना की विस्तृत रिपोर्टिंग है. 3 फरवरी, 2024 को अपलोड किए गए इस वीडियो के अनुसार, यह वीडियो संगरूर का है, जब भाना सिद्धू के समर्थन में आए आंदोलनकारियों ने पुलिस की बैरिकेडिंग और डिवाइडर के ऊपर ट्रैक्टर चढ़ा दिए थे. पड़ताल के दौरान Punjabi Lok Channel और ABP Sanjha के यूट्यूब चैनल पर भी हमें 3 फरवरी, 2024 की वायरल वीडियो से मिलते-जुलते विजुअल्स के साथ इस घटना की रिपोर्टिंग मिली. इनमें भी वीडियो को भाना सिद्धू के समर्थन में हुए आंदोलन का बताया गया था. आगे हमने भाना सिद्धू और इस आंदोलन से संबंधित रिपोर्ट्स के बारे में सर्च किया. 3 फरवरी के अमर उजाला के अनुसार, भाना सिद्धू के हक में आए किसान, सीएम आवास के सामने रोष जताने जा रहे थे. जिनको बाद में पुलिस ने इन्हें हिरासत में ले लिया था. भाना सिद्धू पंजाब के एक जाने-माने पंजाबी यूट्यूबर और सोशल मीडिया इन्फ्लुएंसर हैं. रिपोर्ट्स के मुताबिक, इनपर 2019 से अबतक आठ अलग-अलग मामले दर्ज किए गए हैं, जिसमें जनवरी 2024 के एक सप्ताह में उनके खिलाफ चार मामले दर्ज हुए. बीती 26 जनवरी को अबोहर में उसके खिलाफ जबरन वसूली का एक और मामला दर्ज किया गया था. आगे पुष्टि के लिए हमने इनके सोशल मीडिया हैंडल्स की भी पड़ताल की. भाना सिद्धू के इंस्टाग्राम पर 3 फरवरी का पोस्ट किया गया वायरल वीडियो से मिलता-जुलता एक वीडियो मौजूद था. वीडियो के साथ लिखा था, "पंजाबी. बडबर टोल प्लाजा से बीकेयू कादिया, बरनाला के नौजवानों ने संगठन की जीप से पुलिस नाका तोड़ा और संगरूर मोर्चे में भाग लिया." (पंजाबी से हिंदी अनुवाद) नीचे हमने वायरल वीडियो और भाना सिद्धू के इंस्टाग्राम पर 3 फरवरी को पोस्ट किए गए वीडियो के स्क्रीनशॉट की तुलना की है. ऊपर दिए गए फैक्ट्स से यह स्पष्ट है कि वायरल वीडियो भाना सिद्धू के समर्थन में हुए 3 फरवरी के आंदोलन के दौरान का है. इसका हालिया किसान आंदोलन से कोई संबंध नहीं है.
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